एक सत्य और ज्वलंत घटना : फेसबुक पर की दोस्ती फिर किया क़त्ल……
sach ka aaina
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एक सत्य और ज्वलंत घटना : फेसबुक पर की दोस्ती फिर किया क़त्ल……
मुंबई में एक शख्स पहले सोशल नेटवर्किंग के जरिए लड़की के करीब आया और उससे प्यार का ढोंग रचाकर शादी का सपना दिखाया और फिर तीसरी ही मुलाकात में उससे शारीरिक सम्बन्ध बना लिए. जब लड़की ने शादी की जिद की तो उसको तड़पाकर मारने के बाद विदेश जाने की तैयारी में जुट गया. नोएडा से फरार इस हत्यारे प्रेमी को बुधवार को महाराष्ट्र के पनवेल शहर से पुलिस ने गिरफ्तार कर लिया. गौरतलब हो कि सोशल नेटवर्किंग साइट्स के जरिये बिना सोचे समझे प्यार करने के फैलते जहर का ये एक और उदाहरण है इसी क्रम में लुबना और शाहबाज की भी दोस्ती अप्रैल 2013 के आसपास फेसबुक से शुरू हुई थी और जल्द ही शाहबाज ने लुबना को दोस्ती के बाद अपने प्यार में फंसा लिया. और इसी के साथ-साथ शाहबाज ने लुबना से झूठ बोला कि वह एक प्रतिष्ठित कंपनी में अधिकारी है. शाहबाज ने लुबना से शादी का वादा भी किया और इस तरह जल्द ही उसका भरोसा जीत लिया. शुरू की पहली दो साधारण मुलाकातों के बाद जब शाहबाज तीसरी बार लुबना से मिला, तब उसने शादी के झांसे में लुबना को बहकाया और नोएडा में ही शारीरिक सम्बन्ध स्थापित कर लिया। इस बीच जब लुबना ने शाहबाज की नौकरी और अन्य दावों की पुष्टि करनी चाही, तो शाहबाज के झूठ एक के बाद एक खुलते चले गए. लुबना को खत्म करने की योजना के साथ शाहबाज नोएडा के लिए निकला और लुबना को एक बार फिर अपने प्यार और भरोसे की दुहाई देते हुए मिलने का अनुरोध किया. इस बार लुबना उसके जाल में आ गई, पर उसे नहीं पता था कि इसी मुलाकात में वह अपनी जान से हाथ धो बैठेगी. 28 अगस्त को शाहबाज लुबना को लेकर नोएडा के रुबिकॉन होटेल में गया और खुद को पति-पत्नी बताते हुए एक रूम बुक करवाया. रात करीब 11 बजे के बाद शाहबाज ने मौका पाकर उसका मुंह तकिये से दबा दिया. हत्या करके कातिल मुंबई में अपने घर वापस आ गया. पूरे घटनाक्रम की भनक पनवेल पुलिस को लग चुकी थी. वह जैसे ही पनवेल स्थित अपने घर में आया, वहां पहले से घात लगाए बैठी पुलिस की टीम ने उसे धर दबोचा. तो ये थी हकीकत से भरी एक दरिन्दे की करतूत जिसने एक मासूम को जाल में फंसाकर उसकी जीवन लीला समाप्त कर दी. लोगो को ऐसे केसस से सीख लेनी चाहिये खासतौर पर लड़कियॉ को किसी अजनबी से प्यार करने से पहले घरवालो को बताये और जांच पड़ताल करे. रोज़ न्यूज़ मे 8-10 ऐसे काण्ड छपते है फिर भी वही दोहराना बेवकूफी नही तो और क्या है? समाज मे भेड़िये घूम रहे है तो ज्यादा चौकन्ना रहने की जरूरत है वर्ना भेड़िये ऐसे ही शिकार करते रहेंगे. फेस बुक पर लाखो फेक अकौऊंट होंगे इसलिए बिना जानकारी के निकटता नही बढानी चाहिये क्योंकि कलयुग चरम पर है. लुबना नादानी कर बैठी. उसकी खुशी उसकी मौत बनके आई. आजकल के लोग शाहबाज़ ज्यादा है, शरीफ नही. आज़कल किसी भी पर भरोसा करना अपने आपको ठगा-ठगा पाने जैसा है. फेसबुक को कुछ लोगो ने बदमाशी का अड्डा बना लिया है. ये भी सत्य है कि देश और दुनिया मे जो दुराचार हो रहे हैं उसमे सोशियल साइट्स का बहुत बड़ा हाथ है. हमारी युवा पीढ़ी को प्यार और वासना {सेक्स} का फर्क समझना होगा ज्यादातर भोली-भाली लड़कियां इस फर्क को समझ नहीं पाती और शातिरों के चुंगुल में फंस रहीं है इस ऑनलाइन दुनिया के फरेब को हम अपने बच्चों को समझाने में नाकाम रहे हैं. कुछ मुद्दे ऐसे होते हैं जो देश को एकसमान रूप से झकझोरते हैं. उन पर तो कम से कम एक देश की तरह सोचिए ? फेस बुक प्यार रोग की तरह फैल रहा है , इसे रोकना जरूरी है नही तो अंजाम बहुत भयानक होगा. गलती फेसबुक की नहीं लोगो की अस्थिर और कमजोर मानसिकता की है, फेसबुक के जरिए दोस्त बनाना बुरी बात नही, लेकिन दोस्ती की सीमा तय करना, जो कि लड़का या लड़की ही तय कर सकते है, फेसबुक नही. अब अगर लड़की एक फेसबुक की दोस्ती में तीसरी मुलाकात में ही लड़के को अपना सब कुछ सौंप देती है, इसका सॉफ मतलब है की लड़की भी संबंधों को लेकर उतनी ही उत्तेजित थी जितना की लड़का ऐश करने के लिए. ऐसे हालत मे दोष तो दोनो का है, क्योंकि किसी ने भी अपनी सीमायें तय नहीं की. लड़की का दोष है कि वह बिना सोचे समझे इस हद तक चली गयी, जबकि लड़के की मानसिकता तो शुरू से ही गलत थी…….. सुनीता दोहरे ….
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